इंदौर लोकसभा सीट पर हार के डर से कांग्रेस उम्मीदवार अक्षय कांति बम ने अपना नामांकन वापस ले लिया है। इस नए घटना के पीछे बीजेपी की प्रमुख रणनीति है, जिसमें सीनियर नेता कैलाश विजयवर्गीय ने एक योजना बनाई थी। घटना में कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी के साथ साजिश का भी आरोप लगाया जा रहा है।
अक्षय कांति बम को धमकाकर और उनके ऊपर मुकदमा बढ़ाकर चुनाव में परेशान किया गया था। उन्हें भीड़ते हुए 8 लाख वोटों से जीत का लक्ष्य था, लेकिन इस नई स्थिति में यह होने से बच नहीं पाया। अब इंदौर लोकसभा सीट पर बीजेपी का उम्मीदवार शंकर लालवानी का चुनाव होगा।
इस समस्याग्रस्त कार्यक्रम से जुड़े सूत्रों का कहना है कि इस पूरे दंगल में एक रणनीति का खेल था, जिसमें कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी भी सामिल थे। इस परिस्थिति में बीजेपी ने अपनी खोजी वर्गा बातचीत के माध्यम से इस घटना की योजना ब्राह्मण की तर्ज पर की थी।
इंदौर लोकसभा सीट पर होने वाले इस चुनाव में अब बड़ी ही रोमांचक घटनाएं देखने को मिलेंगी। नतीजों के लिए हर कोई अपनी उत्तरदायित्व निभाते हुए हिस्सेदारी करेगा।
यह थे ‘राजनीति गुरु’ की तरफ से लेखिका कृति शर्मा।
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