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थरूर ने जीएसटी सुधार को कहा ज्यादा न्यायपूर्ण

In National
September 08, 2025
rajneetiguru.com - थरूर ने जीएसटी सुधार को कहा ज्यादा न्यायपूर्ण। Image Credit – The Economic Times

 सांसद शशि थरूर ने नए जीएसटी सुधारों का स्वागत करते हुए उन्हें “बहुत ज्यादा न्यायपूर्ण प्रणाली” कहा। उन्होंने ANI से कहा, “हम कांग्रेस में कई वर्षों से यही मांग कर रहे थे… जब चार दरें थीं, तो यह भ्रमित करने वाली थी… अब यह एक बहुत न्यायपूर्ण प्रणाली है और हमें उम्मीद है कि यह हर किसी के लिए बेहतर होगी।” थरूर ने जोर देकर कहा कि कांग्रेस लंबे समय से कर स्लैब को दो या एक करने की वकालत करती रही है।

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने एक राजनीतिक दृष्टिकोण प्रस्तुत करते हुए दावा किया कि “डोनाल्ड ट्रंप का दबाव बढ़ रहा है” और चुनावी समय के करीब जीएसटी सुधार लाने को राजनीतिक रूप से प्रेरित करार दिया।

कई वरिष्ठ कांग्रेस नेताओं ने सुधार को “आठ साल बहुत देर से” करार दिया—पर अंततः स्वागत किया गया।

वहीं, अर्थ मंत्री निर्मला सीतारमण ने विपक्षी आलोचना को “अजानकारीपूर्ण” कहा और याद दिलाया कि कांग्रेस मंत्रियों ने भी GST प्रणाली के निर्माण में हिस्सा लिया था।

ये सुधार अनुमानतः 1.1 प्रतिशत अंक तक महंगाई कम कर सकते हैं, और इसका सरकारी राजस्व पर प्रभाव ₹48,000 करोड़ के आसपास हो सकता है—जो पूर्वानुमानों से काफी कम है।

सरलीकृत स्लैब से उपभोक्ता राहत प्राप्त होगी: टूथपेस्ट, शैम्पू और पैक किए हुए खाने-पीने के सामान जैसे दैनिक उपयोग की वस्तुएँ अब 5% श्रेणी में आएँगी, जबकि एयर कंडीशनर, टीवी और छोटे वाहन जैसे टिकाऊ वस्त्र 18% में शामिल होंगे।


विश्लेषक मानते हैं कि इन सुधारों से घरेलू मांग में बढ़ोतरी हो सकती है क्योंकि कर संरचना सरल बन रही है और वस्तुएँ सस्ती होंगी। जबकि केंद्र सरकार इसे समावेशी विकास की दिशा में कदम मानती है, विपक्षी राज्यों ने राजस्व में संभावित गिरावट का हवाला देते हुए मुआवजे के मजबूत तंत्र की मांग की है।

भारत का GST सुधार सरलीकरण और नागरिक-केंद्रित कर नीति की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। शशि थरूर ने इसे लंबे समय से प्रतीक्षित सुधार बताया है, जबकि यह चुनाव और त्योहारों के मौसम से पहले आए ऐसा समय है जो इसे राजनीतिक और आर्थिक दृष्टि से विशेष बनाता है। सफलता इस बात पर निर्भर करेगी कि इसे कैसे लागू किया जाए और उपभोक्ताओं व राज्यों दोनों के हितों का संतुलन कैसे बनाया जाए।

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