-सोनिया के सन्यास को लेकर बड़ा खुलासा
राहुल गांधी के आखिरकार कांग्रेस अध्यक्ष बनने की घड़ी लगभग करीब नजर आ रही है। अपने बेटे को ताज पहनाने के बाद सोनिया गांधी क्या सक्रिय राजनीति से संन्यास ले लेंगी? क्या वह अगला लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगी। क्या वह यूपीए की चेयरपर्सन की जिम्मेदारी से खुद को अलग कर लेंगी। कांग्रेस पार्टी के गलियारो में ये कुछ सवाल खड़े हो रहे हैं। वही कांग्रेस के शीर्ष नेता सोनिया के सक्रिय राजनीति से संन्यास लेने के सवाल पर साफ इनकार करते हैं।
दरअसल राहुल के पार्टी की कमान संभालने के बाद सोनिया की जिम्मेदारी पहले से ज्यादा बढ़ जाएगी। वह पार्टी के कामकाज और अहम फैसलों को लेकर राहुल को गाइड तो करेंगी ही। साथ ही वह सक्रिय राजनीति में रहकर विपक्षी दलों को मोदी सरकार के खिलाफ कई मुद्दों पर एकजुट रखकर सक्रिय राजनीति में अपनी भूमिका अदा करेंगी।
राहुल के अध्यक्ष बनने के बाद तकनीकी तौर पर सोनिया गांधी सीडब्ल्यूसी की मेम्बर और पार्टी संसदीय बोर्ड की चेयरपेर्सन रहेंगी। पार्टी सूत्रों कि माने तो सोनिया गांधी पार्टी के रोजाना के कामकाज से दूर रहेंगी। मगर विपक्षी पार्टियों के तालमेल और 2019 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस की स्ट्रेटजी में अहम भूमिका अदा करेंगी।
कांग्रेस सूत्रों का कहना है कि 2019 के लोकसभा चुनावों में वह शायद दोबारा चुनावी संग्राम में ना आये। वह 2019 में पार्टी की स्टार प्रचारक तो रहेंगी, पर अपने संसदीय क्षेत्र रायबरेली से चुनाव लड़ने को लेकर निश्चित नहीं है। ऐसे में पार्टी में चर्चा है कि वह अपनी सीट से प्रियंका को चुनावी मैदान में उतार सकती हैं। मगर पार्टी के नेता कहते है की कि चुनाव लड़ने का फैसला पूरी तरह से प्रियंका पर ही रहेगा।
सोनिया के करीबी कांग्रेस के एक शीर्ष नेता ने कहा कि राहुल के कमान संभालने के बाद वह इसका खास ध्यान देंगी की राहुल को अपनी टीम चुनने का पूरा अधिकार होगा। उनकी टीम में कौन होगा कौन नहीं। इसे लेकर उनका फैसला ही अंतिम होगा।