राजद नेताओं के लालू के खिलाफ एकतरफा कार्रवाई के आरोप को बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने आड़े-हाथों लिया है, उन्होंने कहा है कि चारा घोटाले में लालू प्रसाद को दोषी करार दिया जाने के बाद तथ्यों से आंख मूंदकर राजद के लोग न्यायपालिका पर जातिवादी होने का आरोप लगा रहे हैं। उन्हें पता नहीं है कि लालू प्रसाद सहित जिन 16 लोगों को दोषी पाया गया है उनमें से आठ अभियुक्त ऊंची जातियों के हैं। उधर जगन्नाथ मिश्रा समेत आठ लोगों को बरी किया, उनमें 4 दलित और पिछड़ी जातियों के लोग हैं।
सुशील कुमार मोदी ने कहा है कि सरकारी खजाने से 89.4 लाख रूपय की अवैध निकासी के मामले में दोषी करार दिए गए लालू प्रसाद भ्रष्टाचार में सातवीं बार जेल गए। इसके बावजूद वह अपनी तुलना नेल्सन मंडेला और मार्टिन लूथर किंग जैसे नेताओं से कर रहे हैं। ऐसे में अवैध संपत्ति बनाने वाले नेता जनता का नेतृत्व कैसे करेंगे?
सुशील कुमार मोदी ने पूर्व सांसद शिवानंद तिवारी पर तंज कसते हुए कहा कि बेनामी संपत्ति के समर्थन की राजनीति के लिए संन्यास तोड़ने वाले समाजवादी नेता अब महसूस कर रहे हैं कि 21 साल पहले लालू प्रसाद के खिलाफ चारा घोटाले में जनहित याचिका दायर कर उन्होंने पाप किया था। लेकिन सच यह है कि पाप तो वे अब कर रहे हैं। सन्यास से पतन के बाद पाप-पुण्य का विवेक नष्ट हो जाता है।